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Review :
संस्कार–आर– अनन्तमूर्ति के इस कन्नड़ उपन्यास को युगान्तरकारी उपन्यास माना गया है । ब्राह्मणवाद, अन्/ाविश्वासों और रूढ़िगत संस्कारों पर अप्रत्यक्ष लेकिन इतनी पैनी चोट की गई है कि उसे सहना सनातन मान्यताओं के समर्थकों के लिए कहीं–कहीं दूभर होने लगता है । ‘संस्कार’ शब्द से अभिप्राय केवल ब्राह्मणवाद की रूढ़ियों से विद्रोह करनेवाले नारणप्पा के दाह–संस्कार से ही नहीं है । अपने लिए सुरक्षित निवास–स्थान, अग्रहार आदि के ब्राह्मणों के विभिन्न संस्कारों पर भी रोशनी डाली गई है–स्वर्णाभूषणों और सम्पत्ति–लोलुपता जैसे संस्कारों पर भी! ब्राह्मण–श्रेष्ठ और गुरु प्राणेशाचार्य तथा चन्द्री, बेल्ली और पी जैसे अलग और विपरीत दिखाई देनेवाले पात्रों की आभ्यन्तरिक उथल–पुथल के सारे संस्कार अपने असली और खरे–खोटेपन समेत हमारे सामने उघड़ आते हैं ।/ार्म क्या है?/ार्म–शास्त्र क्या है? क्या इनमें निहित आदेशों में मनुष्य की स्वतन्त्र सत्ता के हरण की सामर्थ्य है, या होनी चाहिए? ऐसे अनेक सवालों पर यू–आर– अनन्तमूर्ति जैसे सामर्थ्यशील लेखक ने अत्यन्त साहसिकता से विचार किया है, और यही वैचारिक निष्ठा इस उपन्यास को विशिष्ट बनाती है ।.
About the Author :
यू–आर– अनन्तमूर्ति जन्म: 21 दिसम्बर, 1932 ई– में मिलिगे नामक गाँव, जिला शिमोगा (कर्नाटक) । शिक्षा: मैसूर विश्वविद्यालय से अंगे्रजी साहित्य में एम–ए– और बर्मिंघम विश्वविद्यालय (इंग्लैंड) से पी–एच–डी– । कन्नड़ के प्रख्यात उपन्यासकार और कथा–लेखक । यदा–कदा कविताओं की भी रचना । सन् 1975 में आयोवा विश्वविद्यालय, 1978 में तुफ्त्स विश्वविद्यालय (अमेरिका) में विज़िटिंग प्रोफेसर और 1985 में आयोवा विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित अन्तर्राष्ट्रीय लेखक सम्मेलन में हिस्सेदारी । सन् 1987 से 1991 तक महात्मा गां/ाी विश्वविद्यालय, कोट्टायम के उप–कुलपति और सन् 1980–1992 के बीच मैसूर विश्वविद्यालय में अंग्रेजी के प्रोफेसर–पद पर कार्य । नेशनल बुक ट्रस्ट, नई दिल्ली के चेयरमैन और साहित्य अकादेमी के अध्यक्ष–पद पर भी कार्यरत रहे । भारतीय ज्ञानपीठ सहित साहित्य, संस्कृति और फिल्म क्षेत्र के अनेक प्रतिष्ठित पुरस्कारों से सम्मानित । देश–विदेश में आयोजित अनेक साहित्य–सम्मेलनों में व्याख्यान और अनेक संस्थाओं की मानद सदस्यता । अवस्था, संस्कार आदि उपन्यासों पर फिल्मों का निर्माण । अंग्रेजी, रूसी, फ्रेंच, हंगेरियन, हिन्दी, बांग्ला, मलयालम, मराठी, गुजराती आदि भाषाओं में रचनाओं का अनुवाद । हिन्दी में अनूदित कृतियाँ: संस्कार, अवस्था, भारतीपुर (उपन्यास)य घटश्राद्ध, आकाश और बिल्ली (कहानी संग्रह) । सम्प्रति: चेयरमैन, फिल्म एंड टेलिविज़न इंस्टीट्यूट ।.
Hardcover :
159 pages
Publisher :
Radhakrishna Prakashan (1 January 2018)
Language :
Hindi
Package Dimensions :
20 x 14 x 4 cm
Customer Reviews :
3.7 out of 5 stars
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